राजस्थान पत्रिका के नॉलेज कॉर्नर में 14 दिसंबर, 2024 को प्रकाशित
Showing posts with label क्वांटम कंप्यूटर. Show all posts
Showing posts with label क्वांटम कंप्यूटर. Show all posts
Sunday, December 15, 2024
क्वांटम कंप्यूटिंग क्या है?
नवंबर 2019 में गूगल ने घोषणा की थी कि कंप्यूटिंग में क्वांटम सुप्रीमेसी हासिल कर ली गई है। इस दावे की पुष्टि करने का काम अभी जारी है। परंपरागत कंप्यूटर भौतिक शास्त्र के परंपरागत सिद्धांतों पर काम करते हैं। क्वांटम कंप्यूटर उन नियमों पर काम करेगा, जो महीन सबएटॉमिक पार्टिकल्स के व्यवहार को दर्शाते हैं। 1981 में भौतिक विज्ञानी रिचर्ड फेनमैन ने लिखा, ‘प्रकृति की नकल करते हुए हमें क्वांटम मिकेनिक्स का विकास करना होगा, जो सरल नहीं है।’ परंपरागत कंप्यूटर, सूचना को बाइनरी यानी 1 और 0 के तरीके से प्रोसेस करता है, जबकि क्वांटम कंप्यूटर ‘क्यूबिट्स’ (क्वांटम बिट्स) में काम करेगा। इसमें प्रोसेसर 1और 0 दोनों को साथ-साथ प्रोसेस करेगा। ऐसा एटॉमिक स्केल में होता है। इस स्थिति को क्वांटम सुपरपोजीशन कहते हैं। सबसे तेज सुपर कंप्यूटर जिस काम को करने में 10 हजार साल लेगा, उसे नए चिप महज 200 सेकंड लेंगे। आईबीएम, माइक्रोसॉफ्ट, गूगल और अमेज़न जैसे संस्थान रिगेटी और आयोनक (Ionq) जैसे स्टार्टअप्स के साथ इस नई तकनीक पर भारी निवेश कर रहे हैं। अनुमान है कि क्वांटम कंप्यूटिंग 2035 तक 1.3 ट्रिलियन अमेरिकी डॉलर का उद्योग बन जाएगी।
Subscribe to:
Posts (Atom)