Monday, October 16, 2023

‘हर्ड इम्यूनिटी’ क्या होती है?

अंग्रेजी के हर्ड शब्द का अर्थ होता है झुंड या समूह। हर्ड इम्यूनिटी का अर्थ है सामूहिक प्रतिरक्षण। कोविड-19 के दिनों में यह शब्द ज्यादा सुनाई पड़ा। ब्रिटिश सरकार के तत्कालीन मुख्य वैज्ञानिक सलाहकार सर पैट्रिक वैलेंस ने कहा था कि हम देश की 60 फीसदी जनसंख्या को कोरोना वायरस का संक्रमण होने दें, ताकि एक सीमा तक हर्ड इम्यूनिटीविकसित हो जाए। जब किसी वायरस या बैक्टीरिया का संक्रमण होता है, तब शरीर के अंदर उससे लड़ने या प्रतिरक्षण की क्षमता भी जन्म लेती है। सिद्धांत यह है कि यदि बड़ी संख्या में लोगों के शरीर में प्रतिरक्षण क्षमता पैदा हो जाए, तो बीमारी का प्रसार सम्भव नहीं है, क्योंकि तब समाज में उसके प्रसार की संख्या कम हो जाती है। अनेक बीमारियों से लड़ने की क्षमता समाज में इसी तरह पैदा होती है। इसके पीछे का वैज्ञानिक सिद्धांत यह है कि यदि समाज में बड़ी संख्या में ऐसे लोग होंगे, जिनके शरीर में प्रतिरक्षण क्षमता है, तो वे ऐसे व्यक्तियों तक रोग को जाने ही नहीं देंगे, जो प्रतिरक्षित नहीं हैं।

फिंगर-प्रिंट की खासियत?

दो व्यक्तियों के हाथों और पैरों की अंगुलियों के निशान या उभार समान नहीं होते। विज्ञान के अनुसार भले ही ये निशान फौरी तौर पर लगभग एक जैसे दिखाई पड़ें, पर उनमें समानता नहीं होती। इस अंतर का पता सूक्ष्म विश्लेषण से ही हो सकता है। इन्हें एपिडर्मल रिज कहते हैं। हमारी त्वचा जब दूसरी वस्तुओं के साथ सम्पर्क में आती है तब ये उभार उसे महसूस करने में मददगार होते हैं। साथ ही ग्रिप बनाने में मददगार भी होते हैं। किसी भी वस्तु के साथ सम्पर्क होने पर ये निशान उसपर छूट जाते हैं। इसकी वजह है पसीना, जो हमारी त्वचा को नर्म बनाकर रखता है। तमाम दस्तावेजों में जहाँ व्यक्ति दस्तखत नहीं कर पाता उसकी उंगलियों के निशान लिए जाते हैं। आधार पहचान-पत्र में इसीलिए उंगलियों के निशान लिए जाते हैं। फोरेंसिक विज्ञान के विस्तृत होते दायरे में अब दूध का दूध और पानी का पानी अलग करना आसान हो गया है। इसके तहत संदेह की लेशमात्र भी गुंजाइश नहीं रहती।

क्यूज़ीन का मतलब?

क्यूज़ीन फ्रांसीसी शब्द है, जिसका अर्थ है खाना बनाने की कला। इसके लिए लैटिन शब्द है कोकरे। क्यूज़ीन शब्द का इस्तेमाल किसी स्थान विशेष या किसी और तरह से विशेष भोजन के लिए किया जाता है। जैसे जापानी व्यंजन, बंगाली, दक्षिण भारतीय, गुजराती वगैरह। स्थानीय सामग्री का इस्तेमाल भी इसमें महत्वपूर्ण है।

राजस्थान पत्रिका के 14 अक्तूबर 2023 के नॉलेज कॉर्नर में प्रकाशित

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